पहले धान और अब गेंहू की फसल पर मंडरा रहे संकट के बादल

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पहले धान और अब गेंहू की फसल पर मंडरा रहे संकट के बादल

केते में धान की कटी फसल को देखते डीएम साथ में जिला कृषि अधिकारी

केते में धान की कटी फसल को देखते डीएम साथ में जिला कृषि अधिकारी


:बारिश न होने से कम बोई गई धान की फसल

संवाददाता विवेक मिश्रा 
चित्रकूट

इस वर्ष इन्द्रदेव के खुश न होने के चलते जिले में बहुत ही कम मात्रा में धान की पैदावार हुई है। किसानों ने इस आसरे पर काफी जमीने खाली छोड़ दी कि आगे आने वाली रवि की फसल तो ठीक हो जाएगी, लेकिन इस पर भी पानी फिरता नजर आ रहा है। किसानों को गेंहू की फसल बोने के लिए पानी की समस्या खड़ी हुई है। सिंचाई विभाग ने भी नहरो के संचालन में हाथ खड़े कर दिए हैं।
गौरतलब हो कि बरसात में इस वर्ष न के बराबर वर्षा होने के चलते किसान धान की अच्छी पैदावार नहीं कर सके। किसानों ने जई तैयार कर लिया था, लेकिन बारिश न होने से खेतों में नहीं लगा पाए। कुछ वर्षा होने पर धान की फसल में जान तो पैदा हुई, लेकिन बहुतायत जमीन खाली पड़ी रही। किसानों ने आसरा लगाया कि रवि की फसल में बुआई कर लेंगें, लेकिन नवम्बर माह गुजरने की कगार पर है और बारिश की बूंद धरती पर नहीं गिरी तो किसानो की आस में पानी फिरता नजर आ रहा है। ऐसे में किसी तरह किसान खेतों में गेंहू तो बोएगा। भगवान भरोसे फसल तैयार करने की कवायद में है। ट्यूब बेलो के माध्यम से सिंचाई करना पड़ा तो लागत अधिक होना लाजिमी है।

वर्षा न होने से प्रभावित हुई धान की फसल

किसान मनीष सिंह ने बताया कि कम वर्षा होने के चलते धान की फसल प्रभावित हुई है। पानी के संसाधन जिन किसानों के पास थे उन्होंने तो कुछ खेतों में धान की पैदावार की है। अन्य लोगों ने परती छोड़ दिया था। इसी प्रकार रवि की फसल के सामने पानी का संकट खड़ा है। अब केवल ट्यूब बेल के ही सहारे गेंहू की फसल बुआई की तैयारी में किसान है। नवम्बर माह गुजर रहा है, बारिश के संकेत नहीं दिख रहे। ऐसे में ट्यूब बेल के सहारे पलेवा आदि का कार्य शुरू कर दिया है।

कृषक राम प्रताप उर्फ अन्नी ने बताया कि इस बार बारिश न होने से किसानी में कोई दम नहीं दिख रहा। अभी जो धान की फसल तैयार हुई है उसकी कटाई में किसान लगे हैं। पैदावार का अंदाजा फसल कटने के बाद होगा। रवि की फसल बुआई के लिए बारिश का इंतजार कर रहे हैं।

4908 हेक्टेयर में बोया गया था धान

जिला कृषि अधिकारी आरपी शुक्ला ने बताया कि कम बारिश से मिलेट्स की फसल पर जोर दिया जा रहा है। इस बार 4908 हे. में धान की फसल हुई है जो अच्छी दिख रही है। इसके अलावा ज्वार, बाजरा, सांवा, कोदो की बुआई के लिए किसानों को प्रेरित किया जा रहा है। इसी प्रकार रवि की फसल में कम पानी वाली फसल में चना, मसूर, मटर आदि की बुआई के लिए जोर दिया जा रहा है।

धान क्रय केन्द्रों में खरीद शुरू

 डीएम अभिषेक आनंद ने किसानों के धान खरीद के लिए केन्द्र बना दिए हैं। उन्होंने संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए कि किसानों को हर दशा में 48 घंटे के अंदर भुगतान करें। धान खरीद में कोई समस्या नहीं होना चाहिए।

डीएम ने धान की क्राफ्ट कटिंग का लिया जायजा

 डीएम अभिषेक आनन्द ने बुधवार को तहसील कर्वी के ग्राम पंचायत कंठीपुर में धान क्राफ्ट कटिंग का जायजा लिया। कृषक नथन सिंह के खेत के गाटा संख्या 147 में 10 गुणे 3 त्रिभुजाकार 1.481 हेक्टर में धान की क्रॉप कटिंग कराई गई। जिसमे 19 किलो 46 ग्राम शरवती धान निकला। सहायक सांख्यिकी अधिकारी ने बताया कि जनपद में 44.93 प्रति हेक्टेयर का उत्पादन हुआ। इस अवसर पर जिला कृषि अधिकारी आरपी शुक्ला, सहायक सांख्यिकी अधिकारी संतोष कुमार, लेखपाल लाल बहादुर, बीमा कंपनी से मनोज कुशवाहा, ग्राम प्रधान प्रतिनिधि प्रमोद कुमार आदि लोग मौजूद रहे।